स्कूल मर्जर पर महानिदेशक कंचन वर्मा का बड़ा बयान, जानिए क्या कहा


लखनऊ: प्रदेश सरकार द्वारा कम छात्र संख्या वाले बेसिक स्कूलों को एक-दूसरे में मर्ज (पेयरिंग) करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। लेकिन इस मर्जर को लेकर छात्रों की न्यूनतम संख्या को लेकर कोई स्पष्ट मानक तय नहीं किया गया है। इसको लेकर जिलों में भिन्न-भिन्न मापदंड अपनाए जा रहे हैं, जिससे भ्रम की स्थिति पैदा हो रही है।

स्कूल शिक्षा की महानिदेशक कंचन वर्मा ने इस विषय में स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा है कि सरकार की ओर से स्कूलों के मर्जर के लिए कोई बाध्यता या न्यूनतम छात्र संख्या का टारगेट तय नहीं किया गया है। उन्होंने कहा, "पेयरिंग सिर्फ वहीं की जाएगी जहां अभिभावक इसके लिए सहमत हैं। जिलाधिकारी और बीएसए अपने जिले की भौगोलिक और सामाजिक परिस्थितियों को बेहतर तरीके से समझते हैं, इसलिए उन्हें ही इस पर निर्णय लेने की स्वतंत्रता दी गई है। शासनादेश में न तो कोई निश्चित संख्या तय की गई है और न ही किसी प्रकार का दबाव डाला गया है।"

ये भी पढ़ें: सरकारी स्कूलों का मर्जर शुरू, इस जिले में पहला विद्यालय हुआ एकीकृत

इस बयान से यह स्पष्ट हो गया है कि स्कूलों के मर्जर की प्रक्रिया स्थानीय प्रशासन और अभिभावकों की सहमति पर आधारित होगी। साथ ही, यह फैसला किसी एकरूप मानक पर नहीं, बल्कि क्षेत्रीय परिस्थितियों के अनुरूप किया जाएगा।

Post a Comment

Previous Post Next Post