Sitapur: वृंदावन गेस्ट हाउस में शिक्षक/शिक्षामित्र उत्थान समिति की प्रदेश स्तरीय बैठक आयोजित की गई, जिसमें संगठन ने अपनी मांगों को लेकर कड़ा रुख अपनाने का निर्णय लिया। समिति ने ऐलान किया कि यदि 31 दिसंबर तक उनकी मांगें पूरी नहीं की गईं, तो वे भूख हड़ताल शुरू करेंगे।
प्रदेश अध्यक्ष गुड्डू सिंह ने बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश में वर्तमान में 50,000 शिक्षामित्र (Shikshamitra) टेट और सीटेट उत्तीर्ण हैं, जो अध्यापक बनने की पूरी योग्यता रखते हैं। उन्होंने बताया कि अन्य राज्यों में ऐसे योग्य शिक्षामित्रों को अध्यापक नियुक्त कर दिया गया है, लेकिन उत्तर प्रदेश में वे मात्र 10,000 रु
रूपये के मानदेय पर काम करने को मजबूर हैं।
गुड्डू सिंह ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि पिछले सात वर्षों में शिक्षामित्रों के मानदेय (Mandey) में एक रुपये की भी वृद्धि नहीं की गई है। इसके विपरीत, सरकार ने सुपर टेट जैसी परीक्षा लगाकर उनकी नियुक्ति के रास्ते बंद कर दिए हैं। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार ने उनकी मांगों पर विचार नहीं किया तो संगठन आंदोलन के लिए मजबूर होगा।
बैठक में संगठन नेमचंद्र को प्रदेश मीडिया प्रभारी और रोहताश कुमार को हापुड़ का जिलाध्यक्ष मनोनीत किया। इस दौरान प्रदेश संरक्षक आशीष सिंह, संगठन मंत्री विकास शर्मा, महामंत्री अनुज त्रिपाठी समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद रहे।
शिक्षामित्रों ने सरकार से तत्काल हस्तक्षेप कर उनकी समस्याओं का समाधान करने की अपील की है।